एक्टिंग की दुनिया में काम मिलना आसान नहीं है। अगर काम मिल भी जाए तो सफल होना और उस सफलता को बरकरार रखना चुनौती है। कुछ कलाकारों को जल्दी पहचान मिल जाती है तो कई कलाकारों को इसके लिए सालों साल लग जाते हैं। आज एक ऐसी ही एक्ट्रेस के बारे में बताने वाले हैं जिन्हें उम्रदराज होने पर कामयाबी मिली। उन्होंने फिल्में तो कई कीं लेकिन टीवी सीरियल से वो घर-घर में पहचानी जाने लगीं। बात कर रहे हैं एक्ट्रेस सुरेखा सीकरी (Surekha Sikri) की।
Surekha Sikri Biography
सुरेखा सीकरी का जन्म 19 अप्रैल 1945 को दिल्ली में हुआ था। सुरेखा उत्तर प्रदेश से ताल्लुक रखती थीं। उनके पिता एयरफोर्स में थे और मां टीचर थीं। उन्होंने अपना बचपन अल्मोड़ा और नैनीताल में बिताया। सुरेखा ने अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से पढ़ाई की। इसके बाद उन्होंने दिल्ली में नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा में एडमिशन लिया। उन्हें एक्टिंग का बहुत शौक था। एनएसडी में उन्होंने बड़े-बड़े एक्टर्स संग काम किया। 10 साल तक सुरेखा ने थियेटर में काम किया।
Surekha Sikri Debut
1977 में सुरेखा को पहली फिल्म मिली जिसका नाम था ‘किस्सा कुर्सी का‘। यह फिल्म राजनीति और सत्ता पर कटाक्ष करती थी। फिल्म में सुरेखा के साथ शबाना आजमी, उत्पल दत्त, रेहाना सुल्तान और राज बब्बर ने अहम भूमिकाएं निभाईं। सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने फिल्म में 51 सीन को लेकर शोकॉज नोटिस जारी किया था। निर्माताओं ने फिल्म के किरदारों को काल्पनिक बताया था। कुछ समय के लिए फिल्म को बैन कर दिया गया। बाद में कई सीन को दोबारा शूट किया गया और 1978 में नया वर्जन रिलीज हुआ।
Surekha Sikri Filmography
पहली फिल्म के बाद सुरेखा थियेटर में काम करने में बिजी हो गईं। इसके बाद उन्हें पहलाज निहलानी की ‘तमस‘ मिली। दर्शकों ने सुरेखा के किरदार को काफी पसंद किया। इसके लिए उन्हें बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस के लिए राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार से नवाजा गया। 1994 में सुरेखा को फिल्म ‘मम्मो‘ के लिए एक बार फिर बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस के लिए राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला। श्याम बेनेगल की फिल्म ‘मम्मो‘ में सुरेखा के साथ फरीदा जलाल, रजित कपूर और हिमांशी शिवपुरी ने अहम रोल निभाए।
सुरेखा की अन्य प्रमुख फिल्मों में ‘सलीम लंगड़े पे मत रो‘, ‘सरदारी बेगम‘, ‘सरफरोश‘, ‘दिल्लगी‘, ‘जुबैदा‘, ‘मिस्टर एंड मिसेज अय्यर‘, ‘तुमसा नहीं देखा‘, ‘रेनकोट‘, ‘हमको दीवाना कर गए‘ और ‘बधाई हो‘ है। 2018 में आई ‘बधाई हो‘ के लिए सुरेखा को फिर से राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला। उन्हें कुल 3 बार राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार दिया गया।’
Surekha Sikri TV Serials
फिल्मों के साथ-साथ सुरेखा ने कई टीवी सीरियल में काम किया। कलर्स टीवी के सीरियल ‘बालिका वधू ने तो उन्हें शोहरत की बुलंदियों पर पहुंचा दिया। वो घर-घर अपने किरदार दादीसा के नाम से मशहूर हो गईं। आज भी लोग उन्हें इस रोल के लिए याद करते हैं।
Surekha Sikri Personal Life
निजी जिंदगी की बात करें तो सुरेखा ने 1994 में शादी कर ली। उनके पति का नाम हेमंत रेगे था। वो भी फिल्म इंडस्ट्री से जुड़े हुए थे। 2009 में हेमंत का हार्ट फेल की वजह से निधन हो गया। उनके एक बेटा राहुल सिकरी है जो मुंबई में रहते हैं और एक आर्टिस्ट हैं। सुरेखा की सौतेली बहन मनारा सीकरी हैं। मनारा एक्टर नसीरुद्दीन शाह की पहली पत्नी थीं।
2 बार आया था ब्रेन स्ट्रोक
सुरेखा फिल्मों और टीवी में लगातार काम कर रही थीं तभी 2018 में उनके साथ एक हादसा हो गया। वो महाबलेश्वर में शूटिंग कर रही थीं वहां बाथरूम में पैर फिसलने की वजह से वो गिर गईं। उन्हें ब्रेन स्ट्रोक आया। इसके बाद उनके स्वास्थ्य में गिरावट आने लगी लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी।
कुछ समय के बाद ब्रेक के बाद सुरेखा दोबारा काम करने लगीं। 2021 में उन्हें दोबारा ब्रेन स्ट्रोक आया। धीरे-धीरे उनकी तबीयत बिगड़ने लगी। 16 जुलाई 2021 को कार्डिएक अरेस्ट से उनकी मौत हो गई।